पुनर्जन्म सृष्टि का नियम है, जो कुरान में भी है देखें ||

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Mahender Pal Arya

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पुनर्जन्म सृष्टि का नियम है, जो कुरान में भी है देखें ||

हर सृष्टि के आदि में परमात्मा असंख जीव उत्पन्न करते हैं, और यह उत्पन्न होते हैं जीवात्मा के अपने कर्मानुसार, यानि जो जैसा कर्म करेगा उसके जन्म उसके कर्मानुसार ही होना है | अर्थात यह जरुरी नही की मानव मरने के बाद मानव ही जन्म ले | उसके जन्म जमान्तारों के कर्मानुसार उसे जिस योनी का उसका कर्म है उसी योनी में ही जन्म लेता है |



चाहे पशुपक्षी में, किट पतंग में या फिर लता बृक्ष में, यही हाथी से लेकर चींटी तक, और मानव से ले कर बृक्ष तक वह किसी भी योनी में अपने कर्मानुसार जाता है | जिसमे कोई देवता बनता है कोई राक्षस, कोई राजा बनता, है तो कोई भिखारी | यह सब कर्मों का ही खेल है, कारण जीवात्मा कर्म करने में स्वतंत्र है, और फल भोगने में प्रतंत्र, यानि कर्म हम जीवात्मा करेंगे, और फलदाता परमात्मा हमे फल देंगे |



कारण परमात्मा न्याय कारी होने हेतु वह सबको उसके कर्मानुसार ठीक ठीक फल देंगे , न किसी को कम और न किसी को ज्यादा ? कारण अगर कमो, वेश करे तो परमात्मा पर दोष लगेगा | इस लिए हमें भली प्रकार से यह बात समझलेनी चाहिए, की परमात्मा के जिम्मे काम ही यही है सृष्टि की रचना, उसे स्थिति में लाना –और प्रलय करना, मानव मात्र का किये कर्मों का यथार्थ फल देना | मानव के, जन्म, आयु, जाती, और भोग, यह सब परमात्मा के ही कार्य है, यह कोई मानव नही कर सकता |



मानव को उसके कर्मानुसार उसे जन्म मिलता है, जो जैसा कर्म किया वह उसी योनी में उसे भोगना पड़ेगा | कोई सुवर योनी वाला काम करे,और कोई बन्दर,योनी,कोई हाथी,कोई चींटी, योनी वाला काम किया उसको परमात्मा उसी योनी में भेजते हैं |

इस से पुनर्जन्म का और परमात्मा के न्याय व्यवस्था को भी दर्शाता है | जैसा, कोई अँधा, लंगड़ा, बहरा, गूंगा, अपाहिज, और कोई भिखारी, व कोई राजा जन्म लेता है | अवश्यममेव भोक्तव्यं कृतंकर्मम शुभःशुभम् | यह है वैदिक मान्यता | इसी बात को कुरान वालों ने भी लिया है कैसा वह देखें | बकर -28 को

كَيْفَ تَكْفُرُوْنَ بِاللّٰهِ وَكُنْتُمْ اَمْوَاتًا فَاَحْيَاكُمْ ۚ ثُمَّ يُمِيْتُكُمْ ثُمَّ يُحْيِيْكُمْ ثُمَّ اِلَيْهِ تُرْجَعُوْنَ تم اللہ کے ساتھ کسےو کفر کرتے ہو؟ حالانکہ تم مردہ تھے اس نے تمہںा زندہ کا ۔ پھر تمہںْ مار ڈالے گا پھر زندہ کرے گا (١) پھر اسی کی طرف لوٹائے جاؤ گے۔

तुम अल्लाह के साथ कैसे कुफ़्र करते हो? हालाके तुम मुर्दा थे उसने तुम्हें जिन्दा किया फिर तुम्हे मार डालेगा,फिर तुम्हे जिन्दा करेगा फिर उसी की तरफ लौटाए जाव गे |

قُلْ هَلْ اُنَبِّئُكُمْ بِشَرٍّ مِّنْ ذٰلِكَ مَثُوْبَةً عِنْدَ اللّٰهِ ۭ مَنْ لَّعَنَهُ اللّٰهُ وَغَضِبَ عَلَيْهِ وَجَعَلَ مِنْهُمُ الْقِرَدَةَ وَالْخَـنَازِيْرَ وَعَبَدَ الطَّاغُوْتَ ۭ اُولٰۗىِٕكَ شَرٌّ مَّكَانًا وَّاَضَلُّ عَنْ سَوَاۗءِ السَّبِيْلِ 60؀کہہ دیجئے کہ کاِ مں تمہںن بتاؤں؟ تاکہ اس سے بھی زیادہ اجر پانے والا اللہ تعالیٰ کے نزدیک کون ہے؟ وہ جس پر اللہ تعالیٰ نے لعنت کی اور اس پر وہ غصہ ہو اور ان مںہ سے بعض کو بندر اور سور بنا دیا اور جنہوں نے معبودان باطل کی پرستش کی، ییَ لوگ بدتر درجے والے ہںن اور یی راہ راست سے بہت زیادہ بھٹکنے والے ہںد (١)۔

यह देखें सूरा मायदा =आयत 60 को =कह दीजए की क्या मै तुम्हे बताउं, ताके इससे भी ज्यादा अजर पाने वाला अल्लाह के नजदीक कौन है ?वह जिस पर अल्लाह तायला ने, लायनत की और उस पर गुस्सा हुवा,और उनमे से बायज को बन्दर और सुवर बना दिया, और जिन्हों ने उन बातिल माय्बुद की परश्तिश की, यही लोग बदतर दर्जे वाले हैं और यही राहे रास्त बहुत ज्यादा भटकने वाले हैं |

تُوْلِجُ الَّيْلَ فِي النَّهَارِ وَتُوْلِجُ النَّهَارَ فِي الَّيْلِ ۡ وَتُخْرِجُ الْـحَيَّ مِنَ الْمَيِّتِ وَتُخْرِجُ الْمَيِّتَ مِنَ الْـحَيِّ ۡ وَتَرْزُقُ مَنْ تَشَاۗءُ بِغَيْرِ حِسَابٍ 27؀تو ہی رات کو دن مںر داخل کرتا ہے اور دن کو رات مںا لے جاتا ہے (١) تو ہی بے جان سے جاندار پدلا کرتا ہے اور تو ہی جاندار سے بے جان پدَا کرتا ہے (٢) تو ہی ہے کہ جسے چاہتا ہے بشمارر روزی دیتا ہے

सूरा इमरान =27 को देखें = तुहो रात को दिनमे दाखिल करता है, और दिन को रात में ले जाता है, तुही बेजान से जानदार पैदा करता है, और तुही जानदार से बेजान पैदा करता है. तुही है के जिसे चाहता हैं बेशुमार रोजी देता है |

مِنْهَا خَلَقْنٰكُمْ وَفِيْهَا نُعِيْدُكُمْ وَمِنْهَا نُخْرِجُكُمْ تَارَةً اُخْرٰى 55؁اس زمن مں سے ہم نے تمہںس پدرا کات اور اسی مں پھر واپس لوٹائں گے اور اسی سے پھر دوبارہ تم سب (١) کو نکال کھڑا کریں گے۔

यह है सूरा ताहा –आयत 55 को देखें =इस जमीं में से हमने तुम्हें पैदा किया.और इसी जमीन में फिर वापस लौटायेंगे और इसीसे फिर दुबारा तुमसब को निकाल खड़ा करेंगे |



नोट:- कौन कहता है पुनर्जन्म नहीं होता ? यह कुरान वाले भले ही न माने, किन्तु मैंने यह चार {4} प्रमाण कुरान से ही दिया है, की पुनर्जन्म होता है –अब माने न माने उनलोगों की मर्जी है | किन्तु कुछ बात कुरान की वैदिक मान्यता से हट कर है, जैसा अल्लाह को गुस्सा आना, मनमानी किसी को रोजी देना आदि |



दूसरी बात है की अल्लाह जिनपर गजब करेंगे वह सुवर और बन्दर बनादेंगे | यह बना कर रखा कहाँ जायेगा ?दुनिया में ही आना पड़ेगा –कारण बन्दर और सुवर बन कर रहेंगे कहाँ ? तो बन्दर, और सुवरजो बना उसके कर्मानुसार ही बना | जो मै वैदिक मान्यता ऊपर दिखाया हूँ |



अब पिछले दिन मोदी जी के लिए किसी वैज्ञानिक ने सरसैयद अहमद होने का हवाला दिया यह सही है या नहीं या होना संभव है अथवा नही ? उसिदीन मैंने लिखा था सैयद अहमद के लिए की वह कटटर नही थे, यह भी गलत प्रचार कर रहे tv वाले, किन्तु सर सैयद अहमद खान का अगर मोदी बनकर आना कोई भी सत्य मानता है, चाहे अमरीका वाला हो या फ्रांस वाल| मै पहले पूछुंगा की मानव जन्म मिलता किस को है ?



वैदिक मान्यता है की जब पाप और पुण्य बराबर होता है तो मानव जन्म मिलता है, जिसमे तीन प्रकार है, पुलिंग, स्त्रीलिंग और न पुन्सक लिंग | यह भी कर्मानुसार ही है उन बराबर में थोड़ा ज्यादा पुण्य हो तो पुलिंग, उससे कम हो तो स्त्रीलिंग, उससे भी कम हो तो नपुंसक लिंग |



अब लिखने वाला यह बताये की सर सैयद अहमद जो जिन्दगी भर मांसाहार करते रहे उनका जन्म नरेंद्र भाई मोदी जैसे पुण्यात्मा में क्यों और कैसे आ सकती हैं ? कारण जो मांसाहार करेगा वह जितना पाप है उसपाप को बिना भोगे पुन्ययात्मा में कैसे आ गये ?



यह कोरा झूठ है, दूसरी बात है की लेखक ने अगर यह जाना की सरसैयद अहमद की यह आत्मा है, तो वह हमें यह भी बताएं की मरने के बाद वह आत्मा किस किस भोग को भोगता हुवा जन्म मोदीके रूपमें लिया ?

सत्य और झूठ का अभी पता लगेगा, की जो आत्मा सैयद अहमद में थी और किये कर्मों को भोगने के बाद ही कहीं उसका जन्म होगा ? तो लेखक और tv प्रचारक यह बताएं की क्या क्या भोग, सैयद अहमद को भोगना पड़ा, फिर वह मोदिकी आत्मा बनकर धरती पर आई ? यह बात जो की कुरान में अल्लाह ने भी कही, उसके कर्मानुसार उसे बन्दर, और सुवर, बनना पड़ेगा ?



यह कोरा गप्प है जो मानव समाज को भ्रमित करने वाली बात है मैं फिर पुनर्जन्म शोधकर्ता.से पूछता हूँ की आप अगले जन्म को तो छोड़ो, इसी जन्म में जब नरेन्द्र भाई मोदी 1 वर्ष के थे तब वह 15 अगस्त शाम 5 बजकर 59 मिनट में क्या कर रहे थे यही बतादो | यह tv वाले बताएं मै समय दे रहा हूँ कितना समय लेना हो लो पर इस असत्य पर से पर्दा उठाव, तब तो जानूं की मिडिया वाले सत्य को खोजते हैं, और असलियत हमारे सामने प्रस्तुत करते हैं |



किन्तु यह मिडिया वाले झूठे हैं न० 1 के की भारत में ही ऐसी कुछ घटनाएँ हैं जो मिडिया वाले आज तक भारत वासियों के सामने प्रस्तुत नही कर सके, अथवा जान बुझ कर ही नही किया | जैसा अमेठी सर्केट हॉउस का सामूहिक बलात्कार, जिस लड़की से किसने की पता आज तक नही चल पाया कौन लोग थे उस बलात्कार में उन लोगों को क्या और कब सजा मिली,या मिली या नही मिली?



भारत वासी आज तक नही जान पाए, सोनिया गाँधी, और राहुल, गाँधी की शिक्षण योग्यता क्या है ? सही अर्थोंमे यह लोग भारत के इतिहास को या भारत के महापुरषों के इतिहास को जानते हैं या नही ? भारत में कौन, कौन, ऋषि मुनि,का जन्म हुवा ?



भारत का भूभाग कहाँ से कहाँ तक है क्या इन माँ बेटे को पता है ? जिन्हें यह स्वर्थी लोग भारत का प्रधान मंत्री बनाना चाहरहे थे ? मिडिया वालों ने कभी हमें यह खोज बताया है, की महामहीम राष्ट्र पति जी प्रणव मुखर्जी को राहुल के सयोजकत्व में काम करना कैसा लग रहा तह था ?



यह सब महत्वपूर्ण विषय है इस पर खोज मिडिया वाले नही दे सकते और न ही बता सकते | इसका मूल कारण यह लोग बीके हुए हैं, और अनभिज्ञ भी हैं | सत्य से कोसो दूर हैं, धर्म का ध जानते नही, सिर्फ बताते है सभी धर्मों का आदर करना चाहिए |



अरे धर्म क्या है वह तो बताव भाई आदर तो हम बाद में करेंगे, है जानकारी की धर्म है क्या चीज जो अनेकों में बता रहे है ? आकाश नही बटे, वायु नही बटा, जल, सूर्य, चंद्रमा, सितारे, यह सब नही बटे, और धर्म बट गया ? जो सभी धर्म बताया जा रहा है ? है जवाब तो देना

महेन्द्रपाल आर्य –वैदिक प्रवक्ता =दिल्ली = 3 /3 /21

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